Current Location
,
श्री कृष्ण-वन्दन ।। वन्दे नवघनश्यामं पीतकौशेयवाससम् । सानन्दं सुन्दरं शुद्धं श्रीकृष्णं प्रकृतेः परम्॥
जब-जब धरा पर बढ़ता पाप, श्रीकृष्ण जन्म लेते हैं, अपने भक्तों को त्रास से मुक्त करने और धर्म की स्थापना करने।
पूर्णिमा व्रत कथा सत्यनारायण भगवान का पाठ करने से व्यक्ति को हजारों यज्ञों के बराबर पुण्य फल मिलता है। इस व्रत को करने से घर में सुख-समृद्धि का वास होता है और भगवान विष्णु की कृपा बनी रहती है।